SOURCE CNBC TV18
नई दिल्ली: टाटा मोटर्स के शेयरों में लगातार चौथे कारोबारी सत्र में गिरावट दर्ज की गई है, भले ही अमेरिका और ब्रिटेन के बीच एक नए व्यापार समझौते की खबरें आई हैं। विश्लेषकों ने कंपनी की कमाई के अनुमानों में कटौती की है, जिससे निवेशकों की धारणा पर नकारात्मक प्रभाव पड़ा है।
शेयरों में यह गिरावट मुख्य रूप से टाटा मोटर्स की ब्रिटिश सहायक कंपनी जगुआर लैंड रोवर (JLR) के कमजोर वित्तीय दृष्टिकोण के कारण हुई है। JLR ने वित्त वर्ष 2026 के लिए अपने EBIT (ब्याज और करों से पहले की कमाई) मार्जिन अनुमान को घटाकर 5-7% कर दिया है, जो पहले 10% के लक्ष्य से काफी कम है। पिछले वित्त वर्ष (FY25) में JLR का EBIT मार्जिन 8.5% रहा था।
विश्लेषकों का मानना है कि इस कटौती का मुख्य कारण वैश्विक ऑटो उद्योग में अनिश्चितता और अमेरिका द्वारा लगाए गए संभावित टैरिफ हैं। भले ही US-UK व्यापार समझौते से ब्रिटिश कार निर्माताओं, जिनमें JLR भी शामिल है, को कुछ फायदा मिलने की उम्मीद है क्योंकि यह यूके से अमेरिकी ऑटो निर्यात पर टैरिफ को 27.5% से घटाकर 10% कर देगा, लेकिन फिलहाल JLR के वित्तीय दृष्टिकोण पर टैरिफ का खतरा हावी है। JLR ने अस्थाई रूप से अमेरिका को कुछ शिपमेंट भी रोक दिए हैं।
JLR ने यह भी अनुमान लगाया है कि FY26 के लिए उसका फ्री कैश फ्लो “शून्य के करीब” रहेगा, जो पिछले वित्त वर्ष के 1.5 बिलियन पाउंड के मजबूत प्रदर्शन के मुकाबले एक बड़ा झटका है। जेफरीज जैसे कई ब्रोकरेज फर्मों ने टाटा मोटर्स के लिए अपने EPS (प्रति शेयर आय) अनुमानों में 12% से 19% तक की कटौती की है, और स्टॉक पर “अंडरपरफॉर्म” रेटिंग बनाए रखी है।
टाटा मोटर्स के शेयर मंगलवार को ₹681.75 पर कारोबार कर रहे थे, जो इंट्राडे में 0.71% नीचे था। पिछले पांच कारोबारी सत्रों में स्टॉक में 8% से अधिक की गिरावट आई है, जबकि पिछले एक महीने में यह 6.55% और पिछले छह महीनों में 12.5% से अधिक गिरा है। विश्लेषकों का मानना है कि JLR की कमजोर आय का अनुमान और वैश्विक मैक्रोइकॉनॉमिक हेडविंड्स निकट भविष्य में टाटा मोटर्स के शेयरों पर दबाव बनाए रखेंगे।
