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गाजा पट्टी। अमेरिका द्वारा कराए गए युद्धविराम के बावजूद गाजा पट्टी में हमास (Hamas) ने एक बार फिर अपना क्रूर चेहरा दिखाया है। संगठन ने गाजा में नियंत्रण मजबूत करने की कोशिश में कथित ‘आउटलॉ’ (अपराधी) और इज़राइल के ‘सहयोगी’ बताए गए कम से कम आठ लोगों को सरेआम फांसी दे दी। इस भयानक घटना का एक वीडियो भी जारी किया गया है। यह घटना अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) की मध्यस्थता वाले गाजा शांति समझौते (Gaza Peace Deal) के लिए एक बड़ी अड़चन के रूप में सामने आई है, जिसमें हमास को निहत्था करने और गाजा के भविष्य की नेतृत्व भूमिका से दूर रखने की मांग की गई है।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, यह चौंकाने वाला फुटेज सोमवार को सामने आया, जिसमें हरी पट्टियां पहने बंदूकधारियों ने आंखों पर पट्टी बांधे और घुटनों के बल बिठाए गए आठ लोगों को एक व्यस्त सड़क पर गोली मार दी। हमास ने इन लोगों को “अपराधी और इजरायल के सहयोगी” करार दिया है। इस कार्रवाई का मकसद इज़रायली सेना की वापसी के बाद इलाके में प्रतिद्वंद्वी गुटों और गिरोहों पर अपनी पकड़ मजबूत करना बताया जा रहा है।
इस बीच, ट्रंप के शांति समझौते के लिए खतरा पैदा हो गया है। समझौते के पहले चरण में इज़रायल और हमास ने बंधकों की रिहाई और युद्धविराम पर सहमति जताई थी, लेकिन अगले चरणों में हमास को निहत्था करने और उसे गाजा के शासन से दूर रखने की शर्त शामिल है। हमास ने अब तक निरस्त्रीकरण की बात मानने से इनकार किया है और उसने गाजा में अपनी सुरक्षा इकाई ‘डेटरेंस फोर्स’ (Deterrence Force) के जरिए हिंसा और अराजकता फैलाने वाले तत्वों पर कार्रवाई के नाम पर यह सार्वजनिक फांसी दी है, जो सीधे तौर पर समझौते के उद्देश्य के खिलाफ है। ट्रंप ने चेतावनी दी है कि यदि हमास हथियार नहीं डालता है, तो उसे बलपूर्वक निरस्त्र किया जाएगा।
यह घटना दिखाती है कि गाजा में सत्ता संघर्ष अभी खत्म नहीं हुआ है, और हमास के इस क्रूर कदम ने क्षेत्र में शांति स्थापित करने के अंतरराष्ट्रीय प्रयासों को गंभीर झटका दिया है।
