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नई दिल्ली: भारत सरकार ने देश में सेमीकंडक्टर उद्योग को मजबूत करने और आत्मनिर्भरता बढ़ाने के उद्देश्य से 7 नैनोमीटर (nm) चिप निर्माण के लिए 5 से 7 साल की रोडमैप योजना प्रस्तुत की है। यह योजना भारत को वैश्विक सेमीकंडक्टर आपूर्ति श्रृंखला में एक महत्वपूर्ण स्थान दिलाने की दिशा में एक बड़ा कदम मानी जा रही है।
केंद्र सरकार ने बताया कि इस महत्वाकांक्षी योजना के तहत भारत में उच्च तकनीक वाले चिप्स का निर्माण शुरू किया जाएगा, जिससे देश की टेक्नोलॉजी इंडस्ट्री को आत्मनिर्भर बनाया जा सकेगा। सरकार का लक्ष्य है कि अगले 5-7 वर्षों में घरेलू सेमीकंडक्टर निर्माण उद्योग को विकसित कर, इसके लिए अनुकूल वातावरण तैयार किया जाए। इस योजना में रिसर्च और डेवलपमेंट (R&D), उत्पादन क्षमता विस्तार, इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास, और कौशल विकास पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।
सूत्रों के अनुसार, सरकार ने इस क्षेत्र में निवेश को प्रोत्साहित करने के लिए विभिन्न वित्तीय और नीतिगत सहायता भी दी जाएगी। इसके साथ ही अंतर्राष्ट्रीय कंपनियों को भारत में निवेश करने के लिए आकर्षित करने के लिए आसान नियम भी बनाए जाएंगे। इससे न केवल उच्च गुणवत्ता वाली चिप्स का उत्पादन होगा, बल्कि रोजगार के नए अवसर भी पैदा होंगे।
विशेषज्ञों का कहना है कि यह योजना भारत की डिजिटल और टेक्नोलॉजिकल स्वावलंबन की दिशा में एक महत्वपूर्ण प्रयास है, जो देश को विदेशी चिप्स पर निर्भरता से बाहर निकाल सकेगी। इसके अलावा, वैश्विक सेमीकंडक्टर संकट को ध्यान में रखते हुए, यह पहल समयोचित भी मानी जा रही है।
सरकार की यह पहल तकनीकी उन्नयन के साथ-साथ भारत को सेमीकंडक्टर उत्पादन के क्षेत्र में वैश्विक मानचित्र पर मजबूती से स्थापित करने की दिशा में बड़ी भूमिका निभाएगी। आगामी वर्षों में इसके लागू होने से देश की आर्थिक और तकनीकी स्थिति में सुधार की उम्मीद की जा रही है।
