Source India Today
काठमांडू: नेपाल में Gen Z आंदोलन के हिंसक रूप लेने के बाद देश में जारी राजनीतिक उथल-पुथल के बीच, नेपाली सेना के प्रमुख जनरल अशोक राज सिगडेल ने राष्ट्र को संबोधित किया है। उन्होंने देशवासियों और विशेष रूप से युवा प्रदर्शनकारियों से शांति बनाए रखने और संयम बरतने की अपील की है। सेना प्रमुख का यह संबोधन ऐसे समय में आया है जब प्रदर्शनकारियों ने संसद भवन, नेताओं के आवासों और सरकारी इमारतों में आग लगा दी है, और हिंसा में कई लोगों की मौत हो चुकी है।
सरकार पर भारी पड़ा Gen Z का गुस्सा
नेपाल में यह विरोध प्रदर्शन कुछ दिन पहले सोशल मीडिया पर लगाए गए प्रतिबंध के विरोध में शुरू हुआ था। हालांकि, प्रदर्शनकारियों का कहना है कि उनके गुस्से की असली वजह दशकों से चला आ रहा सरकारी भ्रष्टाचार और राजनेताओं का कुशासन है। इस आंदोलन को ‘जेनरेशन Z क्रांति’ का नाम दिया गया है, जिसमें बड़ी संख्या में युवा और छात्र शामिल हैं। हिंसा का यह आलम है कि प्रदर्शनकारियों के दबाव में प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली को अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा। इसके बावजूद, प्रदर्शनकारी शांत होने का नाम नहीं ले रहे हैं और उन्होंने राष्ट्रपति और गृह मंत्री के आवासों को भी निशाना बनाया है।
सेना की शांति अपील
अपने संबोधन में, सेना प्रमुख ने हिंसा में हुई जान-माल की हानि पर गहरा दुख व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि सेना लोकतंत्र और संविधान के साथ है और देश की अखंडता व स्थिरता बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने प्रदर्शनकारियों से सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान न पहुंचाने की अपील करते हुए कहा कि ये संपत्तियां देश की हैं और हम सभी को इनका सम्मान करना चाहिए। सेना प्रमुख ने यह भी कहा कि अगर देश की सुरक्षा और संविधान पर कोई खतरा आता है तो सेना अपने कर्तव्य से पीछे नहीं हटेगी।
आगे क्या?
नेपाल की स्थिति अभी भी तनावपूर्ण बनी हुई है। प्रधानमंत्री के इस्तीफे के बाद भी, प्रदर्शनकारियों का गुस्सा शांत नहीं हुआ है। मेयर बालेन्द्र शाह जैसे युवा नेताओं ने भी प्रदर्शनकारियों से बातचीत करने और संयम बनाए रखने की अपील की है। सेना प्रमुख के इस संबोधन के बाद यह देखना बाकी है कि क्या प्रदर्शनकारी शांति और बातचीत का रास्ता अपनाते हैं, या फिर हिंसा जारी रहती है। देश के जानकार मानते हैं कि इस संकट से निकलने के लिए राजनीतिक दलों, युवाओं और सेना को मिलकर एक समाधान निकालना होगा ताकि नेपाल को और अधिक अराजकता से बचाया जा सके।
